नगर के सहायक मन्त्री को जल का अनियमित आपूर्ति के सम्बन्ध शिकायती पत्र लिखिए pdf|

नगर के सहायक मन्त्री को जल का अनियमित आपूर्ति के सम्बन्ध शिकायती पत्र लिखिए|


औपचारिक पत्र

सरकार के कार्य अनेक मन्त्रालयों, विभागों और अनेक अधीनस्थ कार्यालयों के माध्यम से

सम्पन्न होते हैं। इस प्रकार जो पत्र एक सरकारी कार्यालय से दूसरे कार्यालय के मध्य एक दूस

को लिखे जाते हैं, वे औपचारिक पत्र (अथवा कार्यालयीय या शासकीय पत्र) कहलाते हैं।

भारत सरकार की ओर से समस्त विदेशी सरकारों, राज्य सरकारों सम्बद्ध और अधीनस्थ

कार्यालयों, संघ लोक सेवा आयोग तथा सरकारी, अर्द्ध-सरकारी कार्यालयों के साथ औपचारिक

पत्र व्यवहार सरकारी पत्र के रूप में ही किया जाता है। इसी प्रकार राज्य सरकार की ओर से

एक कार्यालय को दूसरे कार्यालय से पत्र सरकारी पत्र के रूप में ही भेजा जाता है। जनता की

या सरकारी कर्मचारियों की संस्थाओं और संगठनों के साथ किये जाने वाले पत्र-व्यवहार के

लिए भी इसी का प्रयोग किया जाता है। शासनादेश, अर्द्ध-सरकारी पत्र, गैर-सरकारी पत्र, कार्यालय स्मृति पत्र, अधिसूचना, परिपत्र प्रस्ताव या संकल्प, स्मरण पत्र, प्रेस-विज्ञप्ति प्रतिवेदन तथा नागरिक या नागरिकों द्वारा किसी अधिकारी या कार्यालय के प्रमुख को लिखे पत्र भी इसी प्रकार के होते हैं। प्रायः इन पत्रों में प्रार्थना या सूचना या परिवाद होता है।

 कार्यालयीय पत्रों की संरचना सम्बन्धी निम्नलिखित बिन्दुओं का ध्यान रखा जाना चाहिए-

(1) सरनामा-इसमें मन्त्रालय अथवा कार्यालय का नाम होता है,

(2) पत्र संख्या तथा दिनांक,

(3) पत्र पाने वाले का नाम और/या पदनाम,

(4) विषय,

(5) सम्बोधन,

(6) पत्र का मुख्य उद्देश्य,

(7) अधोलेख

(8) भेजने वाले के हस्ताक्षर और उसका पद नाम।

से होना चाहिए। सभी सरकारी पत्रों के अन्त में अधोलेख के रूप में प्रार्थी अथवा भवदीय सरकारी अधिकारियों को लिखे जाने वाले पत्रों का आरम्भ 'महोदय' के सम्बोधन लिखना चाहिए।


प्रश्न 1. नगर के सहायक मन्त्री को जल का अनियमित आपूर्ति के सम्बन्ध शिकायती पत्र लिखिए।

उत्तर-

प्रति,

सहायक मन्त्री,

नगर पालिका, ग्वालियर

विषय : नगर में जल की अनियमित आपूर्ति के सम्बन्ध में।

महोदय,

गतवर्ष की भाँति इस साल भी नगर में जल प्रदाय की स्थिति अत्यन्त शोचनीय है।

बार्ड संख्या के सम्पूर्ण क्षेत्र में गत तीन दिनों से जल आपूर्ति नहीं हो रही है। क्षेत्रीय नागरिक

जल की कमी से आकुल-व्याकुल हैं। जब शीतकाल में ही जल आपूर्ति की इस प्रकार की

अव्यवस्था है तो ग्रीष्मकाल में जल आपूर्ति की क्या स्थिति होगी यह आप स्वयं ही सोच सकते हैं।

आशा ही नहीं अपितु हमें पूर्णतः विश्वास है कि आप जलापूर्ति की नियमित व्यवस्था

करके अनुग्रहीत करेंगे।

सधन्यवाद।

प्रार्थी

वार्ड संख्या  के समस्त नागरिक



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नगर के सहायक मन्त्री को जल का अनियमित आपूर्ति के सम्बन्ध
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